ग्रीष्म ऋतु पर निबंध हिंदी में | Essay on Summer Season in Hindi

ग्रीष्म ऋतु पर निबंध हिंदी में | Essay on Summer Season in Hindi

ग्रीष्म ऋतु पर निबंध हिंदी में | Essay on Summer Season in Hindi
ग्रीष्म ऋतु पर निबंध हिंदी में | Essay on Summer Season in Hindi

ग्रीष्म ऋतु निबंध | Grishm Ritu Nibandh

ग्रीष्म ऋतु साल में आने वाली चार ऋतुओं में से एक है। ग्रीष्म ऋतु यानी गर्मी का मौसम। ग्रीष्म ऋतु बसंत ऋतु के बाद आती है। जब पृथ्वी घूमकर सूरज की तरफ झुकती है उस समय गर्मी का मौसम आता है। ग्रीष्म ऋतु मार्च के अंत में शुरू होती है और जून में समाप्त होती है।

यह मौसम बहुत गर्म होता है। गर्मियों में दिनों की अवधि बहुत लम्बी होती है और रात बहुत कम होती है। इस मौसम में गर्मी (तपिश) असहनीय हो जाती है। 

इस मौसम में गर्म हवा निकलती है जो कि लू कहलाती है और जिससे धरती गर्म हो जाती है और पसीना आने लगता है। गर्मियों के मौसम में, सुबह बहुत ही अच्छी होती है। ज्यादातर लोग दोपहर के समय नींद महसूस करते है और गर्मियों में बाहर जाने से बचने को कोशिश करते हैं।

एक महीने तक की गर्मियों की छुट्टियों के कारण बच्चों को स्कूलों से राहत मिलती है। लोग आईसक्रीम, तरबूज, आम आदि खाकर गर्मी का आनन्द लेते हैं। इस मौसम में विभिन्‍न प्रकार के फल और सब्जियाँ उपलब्ध होती है। लोग हल्के कपडे (कोटन) पहनते है जो पसीना सोखते हैं और उन्हें ठंडा रहने में मदद करते हैं।

इस मौसम के दौरान, नदी, तालाब, झील अत्यधिक गर्म मौसम के कारण सूख जाती है। लोगों और जानवरों को इस गर्मी में प्यास बहुत लगती है। लोगों को इस मौसम में बहुत सारा पानी पीना चाहिए और जानवरों को भी पानी देना चाहिए ताकि वे प्यास से मरें नहीं। 

गर्मी किसानों के लिए अच्छी है क्‍योंकि यह बारिश के मौसम के लिए बादल लाती है। इससे स्कूली बच्चों को भी खुशी मिलती है, जो छुटिटयों का इंतजार करते हैं और उन लोगों के लिए जो विभिन्‍न प्रकार के फलों और सब्जियों का आनन्द लेते है।

इस मौसम में कई लोग गर्म जगह को छोड़ ठंडी जगह पर घूमने जाते हैं। गर्मी ज्यादा होने की वजह से लोग कई बार नहाना चाहते हैं और ठंडे तरल पदार्थों का सेवन करना चाहते हैं। बार-बार पानी पीने से भी प्यास नहीं भूजती। लू इतनी तेज और जानलेवा होती है कि लोगों को घर से बाहर निकलने का मन ही नहीं करता। इस मौसम में घर के बाहर कदम रखना बहुत ही कष्टदायक होता है। इन दिनों में हमें अपनी पसंदीदा फल और फसलें मिलती है।

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